चक्रवात रेमल: कोलकाता में भारी बारिश से बाढ़, राज्यपाल ने राहत-बचाव कार्य का लिया जायजा

चक्रवात रेमल ने कोलकाता और दक्षिण बंगाल की हवाई, रेल और सड़क परिवहन सेवाओं को पूरी तरह से बाधित कर दिया। पूर्वी और दक्षिणपूर्वी रेलवे ने कई ट्रेनों को रद्द कर दिया, जबकि कोलकाता के नेताजी सुभाष चंद्र बोस अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे पर उड़ान संचालन 21 घंटे के लिए निलंबित करना पड़ा। अब हवाई अड्डे पर परिचालन फिर से शुरू हो गया है।

बंगाल की खाड़ी से उठा यह चक्रवात बंगाल तट से टकरा चुका है, जिससे कई क्षेत्रों में भारी बारिश और 135 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से तेज हवाएं चलीं। रविवार रात साढ़े आठ बजे यह तूफान बांग्लादेश के मोंगला के दक्षिण-पश्चिम के पास सागर द्वीप और खोपुपारा के बीच पहुंचा। इसके परिणामस्वरूप घरों और खेतों में पानी भर गया और कोलकाता के कई इलाकों में जल भराव की स्थिति उत्पन्न हो गई।

चक्रवात के कारण कोलकाता में एक व्यक्ति की मौत हो गई। बिबीर बागान इलाके में भारी बारिश के कारण एक दीवार गिरने से यह हादसा हुआ। उत्तर और दक्षिण 24 परगना और पूर्वी मिदनापुर जिलों में बिजली के खंभों और पेड़ों को व्यापक नुकसान पहुंचा है।

तूफान से पहले पूरे बंगाल और पूर्वोत्तर राज्यों में आपदा प्रबंधन अधिकारियों और सुरक्षा बलों को हाई अलर्ट पर रखा गया था। भारतीय तटरक्षक और आपदा प्रतिक्रिया दल चक्रवात रेमल पर लगातार नजर बनाए हुए हैं और जहाजों तथा होवरक्राफ्टों को स्टैंडबाई पर रखा गया है।

राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने राजभवन के टास्क फोर्स के साथ क्षतिग्रस्त क्षेत्रों का दौरा किया। मौसम विभाग के अनुसार, चक्रवात रेमल 27 मई 2024 की सुबह तक धीरे-धीरे कमजोर होकर एक चक्रवाती तूफान में बदल जाएगा। मणिपुर, नगालैंड, अरुणाचल प्रदेश और त्रिपुरा में 27-28 मई को भारी से बहुत भारी बारिश का अनुमान है।

इस भीषण तूफान के कारण हुए जल भराव और बाढ़ की स्थिति से निपटने के लिए भारतीय तटरक्षक और अन्य राहत दल सक्रिय रूप से कार्यरत हैं।

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