अहमदाबाद मोटेरा 2030 कॉमनवेल्थ गेम्स का होस्ट घोषित

कॉमनवेल्थ स्पोर्ट ने अहमदाबाद को ‘अहमदाबाद 2030 कॉमनवेल्थ गेम्स’ का आधिकारिक होस्ट घोषित कर दिया है।

इस फैसले के साथ यह तय हो गया है कि दुनिया का सबसे अधिक आबादी वाला देश कॉमनवेल्थ गेम्स के इस ऐतिहासिक सेंटेनरी एडिशन की मेजबानी करेगा। ग्लासगो में हुई कॉमनवेल्थ स्पोर्ट जनरल असेंबली में 74 सदस्य देशों और टेरिटरीज़ के डेलीगेट्स ने भारत की बोली को मंजूरी दी।

भारत ने 2030 गेम्स के लिए एक मजबूत और दूरदर्शी विजन पेश किया, जो गुजरात के अहमदाबाद शहर पर केंद्रित है। यह आयोजन ग्लासगो 2026 के बाद चिह्नित सदी भर की यात्रा को आगे बढ़ाएगा और भारत के लिए सौ साल का उत्सव स्टाइल में मनाने का अवसर देगा।

घोषणा के तुरंत बाद, 20 गरबा डांसर्स और 30 भारतीय ढोल वादक जनरल असेंबली हॉल में पहुंचे और डेलीगेट्स को एक मनमोहक सांस्कृतिक प्रदर्शन से चकित कर दिया।

यह प्रदर्शन गुजरात की सांस्कृतिक विरासत और उस गर्व की झलक था, जिसकी उम्मीद एथलीट और दर्शक भारत में होने वाले 2030 गेम्स से कर सकते हैं। गरबा, जो गुजरात की पारंपरिक नृत्य शैली है, इस प्रस्तुति में ग्लासगो की भारतीय कम्युनिटी और कॉमनवेल्थ देशों के अन्य सदस्यों ने भी हिस्सा लिया।

यह विविधता और एकता की भावना को दर्शाता है और ग्लासगो 2026 से 2030 के सेंटेनरी एडिशन तक के सफर की शुरुआत का प्रतीक है। पहला कॉमनवेल्थ गेम्स 1930 में कनाडा के हैमिल्टन में आयोजित हुआ था। सबसे हाल के 2022 बर्मिंघम गेम्स में ऑस्ट्रेलिया मेडल तालिका में शीर्ष पर रहा, जबकि इंग्लैंड, कनाडा, भारत और न्यूज़ीलैंड शीर्ष पांच में शामिल थे।

कॉमनवेल्थ गेम्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया की अध्यक्ष डॉ. पीटी उषा ने कहा कि कॉमनवेल्थ स्पोर्ट द्वारा दिखाया गया भरोसा अत्यंत सम्मानजनक है।

उनके अनुसार, 2030 के गेम्स न केवल आंदोलन की सौवीं वर्षगांठ का जश्न मनाएंगे, बल्कि आने वाले सौ वर्षों की नींव भी रखेंगे। उन्होंने कहा कि यह आयोजन सभी एथलीटों, समुदायों और संस्कृतियों को दोस्ती और प्रगति की भावना से जोड़ने का अवसर देगा।