उम्मीद पोर्टल पर वक्फ संपत्तियों के रजिस्ट्रेशन की सुप्रीम कोर्ट द्वारा तय छह महीने की समय सीमा 5 दिसंबर को समाप्त हो गई। लेकिन रिपोर्टों के अनुसार देशभर में अभी भी लाखों वक्फ संपत्तियाँ अनरजिस्टर्ड हैं।
इस स्थिति को देखते हुए केंद्र सरकार ने राहत की घोषणा की। जिन लोगों ने रजिस्ट्रेशन की कोशिश की लेकिन पूरा नहीं कर सके, उनके खिलाफ अगले तीन महीनों तक कोई पेनल्टी या कार्रवाई नहीं होगी।
अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरेन रिजिजू ने बताया कि अब तक 1.51 लाख से अधिक वक्फ संपत्तियों का पंजीकरण पूरा हुआ है। कर्नाटक, पंजाब और जम्मू-कश्मीर ने बेहतर प्रदर्शन किया, जबकि कई बड़े राज्यों में प्रक्रिया धीमी रही।
कई जिलों से पोर्टल के धीमे चलने, तकनीकी दिक्कतों और दस्तावेजों की कमी जैसी शिकायतें भी सामने आईं। इससे बड़ी संख्या में संपत्तियाँ रजिस्ट्रेशन से बाहर रह गईं।
रिजिजू ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट की शर्तों के कारण केंद्र सरकार सीधे समय सीमा नहीं बढ़ा सकती। लेकिन वक्फ ट्रिब्यूनल जरूरत के आधार पर छह महीने तक अतिरिक्त राहत दे सकता है।
उन्होंने राज्यों से अपील की कि वे जागरूकता बढ़ाने, प्रक्रिया को सरल बनाने और लोगों की सहायता के लिए सक्रिय कदम उठाएँ। केंद्र सरकार ने आश्वासन दिया कि किसी भी तकनीकी या दस्तावेजी समस्या में पूरी मदद प्रदान की जाएगी।
