गांधीनगर — गुजरात की राजनीति में बड़ा बदलाव देखने को मिला है। गुरुवार को मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल के नेतृत्व में राज्य के नए मंत्रिपरिषद का शपथ ग्रहण समारोह हुआ। इस बार 25 नए चेहरों को मंत्रिमंडल में शामिल किया गया, जिनमें कई सामाजिक वर्गों और जिलों से संतुलन साधा गया है।
सबसे बड़ा नाम सामने आया हर्ष सांघवी का, जिन्हें नया डिप्टी सीएम बनाया गया है। हर्ष तीन बार के विधायक हैं और वर्तमान में मजुरा सीट से आते हैं। वे युवाओं के बीच लोकप्रिय नेता माने जाते हैं।
नए मंत्रियों की सूची में ये नाम प्रमुख:
कनुभाई देसाई, पुरषोत्तम सोलंकी, नरेश पटेल
अहमदाबाद की पूर्व डिप्टी मेयर दर्शना वाघेला
भाजपा एससी मोर्चा के पूर्व प्रमुख प्रद्युमन वाजा
मोरबी से विधायक कांतिलाल अमरुतिया, वडोदरा की मनीषा वाकिल
अर्जुन मोढवाडिया, जो हाल ही में कांग्रेस छोड़कर BJP में आए थे
रुशीकेश पटेल, प्रफुल पनशेरिया, कुंवरजी बावलिया को दोबारा मौका
क्यों दिया गया सामूहिक इस्तीफा?
इस फेरबदल से पहले भूपेंद्र पटेल को छोड़कर पूरी कैबिनेट ने इस्तीफा दे दिया था। इसका मकसद था: एक नई टीम के साथ “Mission 2027” की शुरुआत करना। भाजपा रणनीति के तहत जातीय संतुलन, युवा प्रतिनिधित्व और नए चेहरों को प्राथमिकता दी गई है।
मिशन 2027 की रणनीति
राजनीतिक जानकारों का मानना है कि यह फेरबदल सिर्फ एक प्रशासनिक कदम नहीं, बल्कि आगामी विधानसभा चुनाव 2027 की रणनीति का हिस्सा है। पार्टी ने SC, OBC, पाटीदार और महिला प्रतिनिधित्व को संतुलित कर एक मजबूत सोशल इंजीनियरिंग का संकेत दिया है।
सत्ता समीकरण में संदेश
भाजपा ने यह साफ संदेश दिया है कि पार्टी अब पुराने चेहरों को पीछे छोड़, युवाओं और नए नेताओं को आगे बढ़ाना चाहती है। इससे न केवल संगठन मजबूत होगा, बल्कि स्थानीय निकाय और विधानसभा चुनावों में भी नए वोट बैंक को साधने की कोशिश की गई है।