युवा सेवा संघ की विशाल देशभक्ति यात्रा से तिरंगामय हुई राजधानी

लोकचेतना ब्‍यूरो रायपुर : ‘’बदल सकते हो किस्मत की लकीरों को तुम, कांटो में भी राहें बना सकते हो तुम, हे युवाओं करो विजय का शंखनाद का, चट्टानों में भी राहें बना सकते हो तुम।‘’ ऐसे देशभक्ति का जज्बा दिखाते हुए आजादी के 79वें वर्षगांठ के उपलक्ष्य में स्वतंत्रता दिवस से पूर्व, संत श्री आशारामजी बापू की पावन प्रेरणा से संचालित युवा सेवा संघ के सेवादारों द्वारा एक भव्य देशभक्ति यात्रा का आयोजन किया गया।


यात्रा का उद्देश्य था — राष्ट्रप्रेम, एकता, सामाजिक जागरूकता एवं सांस्कृतिक मूल्यों का प्रसार करना।

युवा सेवा संघ के अध्यक्ष – भूपेश साहू ने बताया कि आज के युवाओं में देशभक्ति होना बहुत जरूरी है क्योंकि यही युवा हमारे देश की आधारशिला है । युवा मजबूत होंगे हमारा देश भी मजबूत होगा और देशभक्ति का जज्बा तो हर हिंदुस्तानियों के अंदर होना जरूरी है । आज के युवाओं को अपने देश के प्रति प्रेम होना चाहिए और उस प्रेम को प्रकट करने का अवसर इस तरह के आयोजन में मिलता है ।

देशभक्ति तिरंगा यात्रा का शुभारंभ लवकुश वाटिका वी.आई.पी. रोड स्थित संत श्री आशारामजी बापू आश्रम से किया गया । यह यात्रा तेलीबांधा, शंकरनगर, कृषि उपज मंडी, देवेंद्र नगर, पहाड़ी चौक, तेलघानी नाक, पुरानी बस्ती, पचपेड़ी नाका होते हुए फुंडहर से पुनः रायपुर आश्रम पहुंची जहां यात्रा का समापन किया गया ।

रायपुर आश्रम के संचालक रामा भाई ने बताया की राष्ट्रप्रेम केवल शब्दों में नहीं, बल्कि कर्मों में होना चाहिए। आज का युवा संस्कार, सेवा और बलिदान की भावना से ओतप्रोत होकर देश को नई ऊंचाइयों पर ले जा सकता है।” युवाओ में राष्ट्रप्रेम व संस्कृति की भावना को जागृत करने हेतु युवा सेवा संघ के युवाओं द्वारा देशभर में स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर देशभक्ति यात्रा का आयोजन किया जाता है । रायपुर युवा सेवा संघ द्वारा इस आयोजन में सैकड़ो युवा हाथों में तिरंगा लिए देशभक्ति गीत गुनगुनाते हुए हुए बढ़ी प्रसन्नता के साथ देशप्रेम दिखाते हुए यात्रा में शामिल हुए । इस यात्रा में युवा बढ़-चढ़ कर हिस्सा लिए ।

पूज्य बापूजी यूवाओ को संदेश देते हुए कहते है कि ” विषय-विकारों के आगे दीन-हीन बनने के लिए आपका जन्म नही हुआ है वरन जन्म-मरण के चक्र से आजाद होने के लिए आपने मानव-जन्म पाया है ।”

तिरंगा हमारे देश की संस्कृति, सोच और लोगों का प्रतिनिधित्व करता है । इसलिए हर देशवासी को तिरंगे का महत्व ज्ञात होना चाहिए । अशोक चक्र की हर तीली का संदेश अलग-अलग है लेकिन विचार एक ही है जिसमें प्रेम, संद्भावना, नैतिकता, भाईचारा, एकता, कमजोरों की मदद, सुरक्षा, सहयोग और देशप्रेम की भावना अन्तर्निहित है ।

यात्रा के मार्ग में आने वाले चौराहों पर महापुरुषों की प्रतिमाओं पर युवा सेवा संघ के सेवादारों ने माल्‍यार्पण किया । यात्रा में सैकड़ों युवा, महिलाएं और बच्चे तिरंगा ध्वज लहराते हुए, देशभक्ति के गीत गाते, और स्वतंत्रता सेनानियों के जयघोष करते हुए सम्मिलित हुए।

यात्रा में शामिल प्रमुख आकर्षण —

  • तिरंगा रैली: मोटरसाइकिलों, साइकिलों व पैदल चलकर युवाओं का देशभक्ति प्रदर्शन।
  • देशभक्ति गीत एवं नारों का उद्घोष: “वंदे मातरम्”, “भारत माता की जय” की गूंज से वातावरण गूंज उठा।
  • सांस्कृतिक झांकियां: स्वतंत्रता संग्राम के महानायकों की प्रेरणादायी झलकियाँ।
  • संदेश वितरण: समाज में एकता, सद्भाव, नशामुक्ति व संस्कारों के प्रचार हेतु सत्साहित्य एवं पुस्तिकाओं का वितरण।

यात्रा का समापन संत श्री आशारामजी आश्रम, लवकुश वाटिका, वी.आई.पी. रोड में पूज्‍यश्री की मंगल आरती एवं राष्ट्रगान के साथ हुआ, जहां सभी ने भारत माता की सेवा और संस्कृति संरक्षण का संकल्प लिया।

इस देशभक्ति यात्रा को सफल बनाने के लिए, युवा भाई भूपेश साहू, हीरालाल साहू, विशाल गोयल, गिरिश साहू, मनीराम साहू, करन साहू, सत्य प्रकाश न्याल, महेश भाई,  कुमित चौहान, लक्ष्मी नारायण साहू, सतीश रगड़ाले, नरेश साहू, मनोज भाई, दिनेश जजेजा, बंटी लालवानी, नवीन इसरानी, सुनील नागरानी, लेखराम साहू, ठाकुरराम साहू, राकेश वर्मा, मुकुंद भाई, रूपराम सिन्हा, पवन प्रेमचन्दनी, युगल साहू, देवचरण सिन्हा, तिलकदास मानिक पूरी, योगेश साहू, आशीष भाई बालसंस्कार विभाग व महिला उत्थान मंडल की, सेवाधारी भाई व बहनो का विशेष सहयोग रहा ।