लद्दाख में राज्य दर्जे की मांग पर लेह में हिंसक प्रदर्शन

लेह में बुधवार को लद्दाख को पूर्ण राज्य का दर्जा देने की मांग को लेकर छात्रों का शांतिपूर्ण प्रदर्शन अचानक हिंसक हो गया। प्रदर्शनकारियों पर पुलिस ने लाठीचार्ज किया, जिसके बाद भीड़ भड़क उठी और भारतीय जनता पार्टी (BJP) के स्थानीय कार्यालय में आग लगा दी।

2019 में अनुच्छेद 370 हटने के बाद जम्मू-कश्मीर का पुनर्गठन कर लद्दाख को केंद्र शासित प्रदेश बनाया गया था। उस समय केंद्र सरकार ने लद्दाख के विकास और स्वायत्तता को लेकर कई वादे किए थे, जिनमें निर्वाचित विधानसभा और संवैधानिक सुरक्षा की बात शामिल थी। स्थानीय संगठनों और युवाओं का आरोप है कि पाँच साल बाद भी ये वादे अधूरे हैं।

लेह में छात्रों ने शांतिपूर्ण रैली निकालते हुए राज्य का दर्जा और संवैधानिक सुरक्षा की मांग दोहराई। गुस्सा तब भड़क उठा जब पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज किया। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार इससे माहौल तनावपूर्ण हो गया और कुछ युवाओं ने BJP कार्यालय पर हमला कर आगजनी कर दी।

स्थानीय नेताओं ने कहा कि यह हिंसा केवल गुस्से की अभिव्यक्ति नहीं बल्कि केंद्र सरकार से बार-बार किए गए वादों के टूटने का नतीजा है। कई लोगों ने सोशल मीडिया पर सवाल उठाए कि आखिर लद्दाख की आवाज़ कब तक अनसुनी की जाएगी।

यह घटना केंद्र सरकार और बीजेपी दोनों के लिए चुनौती है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2019 में लद्दाख को विकास का नया मॉडल बनाने का वादा किया था। अब जब राज्य का दर्जा और राजनीतिक प्रतिनिधित्व की मांग तेज हो रही है, तो सरकार पर दबाव है कि वह ठोस जवाब दे।