इस्लामाबाद — पाकिस्तान की राजधानी के इस्लामाबाद में एक जिला अदालत परिसर में हुए आत्मघाती हमले के बाद सशंकित सुरक्षा माहौल कायम है। इस हमले में कम से कम 12 लोगों की मौत और 36 लोग घायल हुए। घटनाक्रम के बाद पाकिस्तानी रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने अफगानिस्तान को खुले तौर पर चेतावनी दी है और कहा है कि अगर अफगान धरती पर आतंकवादियों को पनाह दी जाती रही तो पाकिस्तान सैन्य विकल्प समेत निर्णायक जवाब देने से पीछे नहीं हटेगा।
रक्षा मंत्री ने मीडिया को दिए बयान में कहा कि पाकिस्तान आतंकवाद की बढ़ती опасना को नज़रअंदाज़ नहीं करेगा। उन्होंने दावा किया कि हाल के कई हमले अफगान नागरिकों द्वारा किए गए और अफगानिस्तान की जमीन से सक्रिय आतंकवादियों ने पाकिस्तान को निशाना बनाना जारी रखा है। ख्वाजा आसिफ ने अफगान तालिबान के प्रति भी ईमानदारी और ठोस कदम न उठाने पर नाराज़गी जताई और कहा कि केवल बयानबाज़ी से स्थिति सुधार नहींेगी।
ख्वाजा आसिफ ने हालिया सुरक्षात्मक अभियानों का जिक्र करते हुए कहा कि सेना की सक्रियता से कुछ जगहों पर सफलता मिली है — उन्होंने विशेष रूप से कैडेट कॉलेज वाना पर हुए हमले और उसके बाद चले अभियान का हवाला दिया, जहां सशस्त्र बलों के हस्तक्षेप से कई कैडेटों की जान बचाई गई।
रक्षा मंत्री ने इस हमले को एक “वेकअप कॉल” करार दिया और कहा कि पाकिस्तान युद्ध की स्थिति में है। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि अफगानिस्तान में आतंकवादी पनाहगाहों की स्थिति बिगड़ती है तो पाकिस्तान निर्णायक कार्रवाई करेगा। उन्होंने यह भी कहा कि फिलहाल काबुल के शासकों के साथ भरोसेमंद और सफल बातचीत की उम्मीद सीमित दिखती है।
स्थानीय मीडिया रिपोर्ट्स में बताया गया है कि यह हमला इस्लामाबाद के सुरक्षा ढांचे पर सवाल उठाता है और पाक अधिकारियों ने जांच शुरू कर दी है। मामले की फोरेंसिक जांच, CCTV फुटेज और संभावित आतंकवादी-लिंक्स की जाँच जारी है।
घटनास्थल पर राहत व बचाव कार्य चल रहे हैं और घायल लोगों को आस-पास के अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। सरकारी सूत्रों के अनुसार जल्द ही हमले की जिम्मेदारी किसने ली और कौन-से समूह घटक जुड़े हैं, इसकी जानकारी सार्वजनिक की जाएगी।
